‘पीरियड्स कोई पाप नहीं है’ कहकर दौड़ पड़ी वो मैैराथन में
kiran
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आज भी देश में लड़कियां पीरियड्स के बारे में बात करने से असहज मजसूस करती हैं. पीरियड्स की बात करना या प्रॉब्लम बताना भद्दा माना जाता है. उन्हें घर हो या बाहर इसकी वजह से बहुत सी दिक्कत आती हैं. बहुत सी जगह तो इस दौरान महिलाओं के साथ अछूत सा व्यवहार किया जाता है, जबकि यह एक नेचुरल प्रोसेस है. ऐसी हालत में एक लड़की पीरियड्स में बिना पैड लिए 42 किलोमीटर दौड़ी.
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